Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
12 Jan 2019 · 1 min read

ग़ज़ल

क़ातिल तेरी अदाएँ शातिर वो मुस्कुराना
पहलू में है छिपा खंजर वैसे दिल मिलाना

कुछ तो मिज़ाज खुद का बाक़ी असर तुम्हारा
ऐसे खुशी में झूमे अब बन गया फ़साना

फ़ितरत तेरी समझकर ही हँस सभी रहे हैं
मिलकर तेरा सभी से यूँ हाले-दिल सुनाना

सबको खबर हुई मुश्किल आ पड़ी उसे है
फ़िर से करीब आने का ढूँढता बहाना

माना के सब ज़हर तुमने पी लिया अकेले
लेकिन कभी न भूलो शमशीर का निशाना

ईमान ही ‘अमर’ खुद तेरा गवाह सब दिन
हैं ज़ख्म कुछ हरे पर गैरों को मत रुलाना

245 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
ये साल बीत गया पर वो मंज़र याद रहेगा
ये साल बीत गया पर वो मंज़र याद रहेगा
Keshav kishor Kumar
मेरा लेख
मेरा लेख
Ankita Patel
😊😊😊
😊😊😊
*Author प्रणय प्रभात*
आपाधापी व्यस्त बहुत हैं दफ़्तर  में  व्यापार में ।
आपाधापी व्यस्त बहुत हैं दफ़्तर में व्यापार में ।
सत्येन्द्र पटेल ‘प्रखर’
ड्रीम-टीम व जुआ-सटा
ड्रीम-टीम व जुआ-सटा
Anil chobisa
दुकान में रहकर सीखा
दुकान में रहकर सीखा
Ms.Ankit Halke jha
यही जीवन है
यही जीवन है
Otteri Selvakumar
"मैं तेरी शरण में आई हूँ"
Shashi kala vyas
"कैसे सबको खाऊँ"
लक्ष्मीकान्त शर्मा 'रुद्र'
* मुस्कुराना *
* मुस्कुराना *
surenderpal vaidya
राजर्षि अरुण की नई प्रकाशित पुस्तक
राजर्षि अरुण की नई प्रकाशित पुस्तक "धूप के उजाले में" पर एक नजर
Paras Nath Jha
मुट्ठी भर आस
मुट्ठी भर आस
Kavita Chouhan
संकल्प
संकल्प
Dr. Pradeep Kumar Sharma
चाँद से मुलाकात
चाँद से मुलाकात
Kanchan Khanna
"अंगूर"
Dr. Kishan tandon kranti
बंदरा (बुंदेली बाल कविता)
बंदरा (बुंदेली बाल कविता)
Dr. Reetesh Kumar Khare डॉ रीतेश कुमार खरे
बेटी उड़ान पर बाप ढलान पर👰👸🙋👭🕊️🕊️
बेटी उड़ान पर बाप ढलान पर👰👸🙋👭🕊️🕊️
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
प्यार का रिश्ता
प्यार का रिश्ता
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
अंधेरे आते हैं. . . .
अंधेरे आते हैं. . . .
sushil sarna
आप और हम जीवन के सच
आप और हम जीवन के सच
Neeraj Agarwal
'Being human is not that easy..!' {awarded poem}
'Being human is not that easy..!' {awarded poem}
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
हे विश्वनाथ महाराज, तुम सुन लो अरज हमारी
हे विश्वनाथ महाराज, तुम सुन लो अरज हमारी
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
राजा जनक के समाजवाद।
राजा जनक के समाजवाद।
Acharya Rama Nand Mandal
जीवन !
जीवन !
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
*सहकारी युग हिंदी साप्ताहिक के प्रारंभिक पंद्रह वर्ष*
*सहकारी युग हिंदी साप्ताहिक के प्रारंभिक पंद्रह वर्ष*
Ravi Prakash
बम भोले।
बम भोले।
Anil Mishra Prahari
2977.*पूर्णिका*
2977.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
अकेला गया था मैं
अकेला गया था मैं
Surinder blackpen
शायद कुछ अपने ही बेगाने हो गये हैं
शायद कुछ अपने ही बेगाने हो गये हैं
Ravi Ghayal
नफ़रत सहना भी आसान हैं.....⁠♡
नफ़रत सहना भी आसान हैं.....⁠♡
ओसमणी साहू 'ओश'
Loading...