सड़को पे दिन रात बढ़ता ट्रैफिक और वाहनों की तेज रफ्तार से होने वाली दुर्घटनाएं और उनसे बचने के उपाय
सड़को पे दिन रात बढ़ता ट्रैफिक और वाहनों की तेज रफ़्तार।
आजकल सड़क पर लोग अन्धाधुन्द गाड़ी दौड़ाते है कुछ लोग तो नशा करके भी गाड़ियों को चलाते है। कई बार तो हार्न की आवाज को इग्नोर करते और साइड नही देते और कभी तो लोग बेहद करीब से गाड़ियों को ले जाते है एक दम इंसान डर ही जाता है।भूल जाते लोग हैलेमेंट पहना और कई बार हेलमेंट न पहनें की वजह से दुर्घटनाओं में लोगो की जान चली जाती है।आये दिन सड़क दुर्घटनाएं बढ़ती ही जा रही है।फिर लोग सबक नही लेते है।आज कल के नोजवान लड़के लडकिया तो हवा में गाड़ियां दौड़ाते है जैसे कोई साहंशाह गाड़ी चला रहे होंगे।
आये दिन सड़क दुर्घटनाओं से कितने इंसानों की जाने जा रही है।अखबारों में आये दिन दुर्घटनाओं से सम्बंधित समाचार पढ़ने को मिलता है।फिर लोगों में जागरूकता नही आती धीमी गाड़ी चलाने के प्रति।
एक छोटी सी गलती की सजा पूरी उम्र की सजा बन जाती है और पूरे परिवार को उसकी सजा भुकतना पड़ता है। एक लाफ़रवाहि से इंसान अपना बहुत कुछ खो देता है । आये दिन रोड पर ट्रैफिक जाम हो जाता है।लोग लेट हो जाते ऑफिस स्कूल जाने पर फिर जल्दी पहुँचने के लिए अपनी गाड़ियों की रफ्तार तेज कर जल्दी पहुचने की कोशिश करते इससे तो दुर्घटना होने की संभावनाएं बढ़ जाती है।
दुर्घटनाओं की रोकथाम के कुछ नियम जरूरी है। जो इस प्रकार है।
■ गाड़ी दोपहिया वाहन चलाने वालो को हेलमेंट पहनना अनिवार्य करना चाहिए न पहनें वालो से फाइन चार्ज का प्रावधान होना चाहिए।
■ किसी भी प्रकार की गाड़ी हो चाहे, कार, बस ,टेम्पू, दोपहिया ट्रक ,टेक्टर आदि।सभी को धीमी गति से ही चलना चाहिए।
■ ड्राविंग करते वक्त अपने परिवार को ध्यान में रखकर गाड़ी चलाना चाहिए।
■ ट्रैफिक पुलिस को भी तेज गति से वाहन चलाने वालों को सीधे अरेस्ट करना चाहिए।
■ घुमावदार मोड़ या आबादी वाले क्षेत्र से गाड़ियों की स्पीट कम होनी चाहिए। इससे दुर्घटना ओ से बचा जा सकता है।
गायत्री सोनु जैन मन्दसौर??