राष्ट्र गीत
बचा लो राष्ट्र भारत को लहू तुम में अगर बाकी ।
वचन दो आज वीरों तुम,शहादत आज गर बाकी।
न छेड़ो धीर सैनिक को ,डटा है वीर सीमा पर ।
निचोड़ें कायरों को हम ,खड़े हैं धीर सीमा पर ।
सृजन है आज भारत का, रुकेगी जुल्म कर चाकी।
वचन दो आज वीरों तुम, शहादत आज गर बाकी।
बचा लो राष्ट्र भारत को लहू तुम में अगर बाकी….
न छोड़ें पाक सीमा हम, न छोड़ें चीन सीमा हम।
बना दे पाक का कीमा, बना दे चीन कीमा हम ।
अभी गलवान है झांकी, अभी पैगांग पर बाकी।
वचन दो आज वीरों तुम शहादत आज गर बाकी।
बचा लो राष्ट्र भारत को लहू तुम में अगर बाकी….
शहीदों है नमन सबको, यहां सब कुछ लुटाया है।
शहादत है नमन सबको, चमन जो भी जुटाया है ।
न भूलें चीन अक्साई, अभी पीओक दर बाकी।
वचन दो आज वीरों तुम,शहादत आज गर बाकी।
बचा लो राष्ट्र भारत को लहू तुम में अगर बाकी….
भले सौ बार जन्मे इस धरा पर प्रण यही माता।
करें हम राष्ट्र की सेवा धरा पर मन यही गाता ।
मरें मर कर जिए सौ बार , मरना है अगर बाकी।
वचन दो आज वीरों तुम, शहादत आज गर बाकी।
बचा लो राष्ट्र भारत को लहू तुम में अगर बाकी….
हजारों राष्ट्र से बढ़कर, हमारी राष्ट्र माता है ।
हमारी संस्कृति के गान सारा विश्व गाता है ।
हमारी सभ्यता के गुण, सुनाना हैं मगर बाकी ।
वचन दो आज वीरों तुम, शहादत आज गर बाकी ।
बचा लो राष्ट्र भारत को लहू तुम में अगर बाकी….
डॉ० प्रवीण कुमार श्रीवास्तव
29.7.2020