Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
25 Jul 2017 · 1 min read

यह है नरसिंहगढ़ हमारा

कहलाता मालवा का कश्मीर,
पर्वताे पहाड़ाे के बीच बसा शहर,
यह है नरसिंहगढ़ हमारा,
बारिस में रहता सदा हरा,
राजवंशाे की है यह धरा,
जलमंदिर का है अद्भुत नजारा,
महादेव बसे है हर पहाड़,हर पत्थर,
इतिहास काे समेटे है यहाँ का हर कंकर,
वर्ष में लगते दाे यहां मेले,
साम्प्रदायिकता के भी हाेते यहां झमेले,
सावन मे लगते झूले,
जिनकाे कभी न हम भूले,
दीवान परसराम है इसके स्थापक,
शहर हमारा बड़ा ही है मनमाेहक,
।।।जेपीएल।।।

Language: Hindi
1 Like · 157 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from जगदीश लववंशी
View all
You may also like:
जिंदगी
जिंदगी
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
मुख अटल मधुरता, श्रेष्ठ सृजनता, मुदित मधुर मुस्कान।
मुख अटल मधुरता, श्रेष्ठ सृजनता, मुदित मधुर मुस्कान।
रेखा कापसे
जिंदगी में अगर आपको सुकून चाहिए तो दुसरो की बातों को कभी दिल
जिंदगी में अगर आपको सुकून चाहिए तो दुसरो की बातों को कभी दिल
Ranjeet kumar patre
दिल में जो आता है।
दिल में जो आता है।
Taj Mohammad
3028.*पूर्णिका*
3028.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
रामचरितमानस
रामचरितमानस
डा. सूर्यनारायण पाण्डेय
हमारी काबिलियत को वो तय करते हैं,
हमारी काबिलियत को वो तय करते हैं,
Dr. Man Mohan Krishna
मौसम का मिजाज़ अलबेला
मौसम का मिजाज़ अलबेला
Buddha Prakash
धनतेरस के अवसर पर ,
धनतेरस के अवसर पर ,
Yogendra Chaturwedi
जब-जब मेरी क़लम चलती है
जब-जब मेरी क़लम चलती है
Shekhar Chandra Mitra
💐प्रेम कौतुक-544💐
💐प्रेम कौतुक-544💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
मोहमाया के जंजाल में फंसकर रह गया है इंसान
मोहमाया के जंजाल में फंसकर रह गया है इंसान
Rekha khichi
जय श्रीकृष्ण -चंद दोहे
जय श्रीकृष्ण -चंद दोहे
Om Prakash Nautiyal
आओ आज तुम्हें मैं सुला दूं
आओ आज तुम्हें मैं सुला दूं
Surinder blackpen
सदविचार
सदविचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
खेतों में हरियाली बसती
खेतों में हरियाली बसती
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
भोर की खामोशियां कुछ कह रही है।
भोर की खामोशियां कुछ कह रही है।
surenderpal vaidya
प्यार की कलियुगी परिभाषा
प्यार की कलियुगी परिभाषा
Mamta Singh Devaa
फितरत
फितरत
Ravi Prakash
वो कुछ इस तरह रिश्ता निभाया करतें हैं
वो कुछ इस तरह रिश्ता निभाया करतें हैं
शिव प्रताप लोधी
प्रणय 8
प्रणय 8
Ankita Patel
जब दूसरो को आगे बड़ता देख
जब दूसरो को आगे बड़ता देख
Jay Dewangan
दोस्ती
दोस्ती
Rajni kapoor
सर्वप्रथम पिया से रँग लगवाउंगी
सर्वप्रथम पिया से रँग लगवाउंगी
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
कुछ खो गया, तो कुछ मिला भी है
कुछ खो गया, तो कुछ मिला भी है
Anil Mishra Prahari
ग़ज़ल
ग़ज़ल
rekha mohan
किसी के दर्द
किसी के दर्द
Dr fauzia Naseem shad
आज कल कुछ लोग काम निकलते ही
आज कल कुछ लोग काम निकलते ही
शेखर सिंह
पढ़ना जरूर
पढ़ना जरूर
पूर्वार्थ
"सूत्र"
Dr. Kishan tandon kranti
Loading...