भोले की निकली बरात
भोले की निकली बरात।
नाचे है सारी जमात।।
बोलें सब बम-बम भोले,
बाराती सारे डोले।।
गायें सब गीत मल्हार।
आयी है अनुपम बहार।
रौशन हुई है हयात।।
भोले की निकली बरात।।
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नाच रहे हैं नंदी बाबा।
सब गण मस्ती में डोलें।
सुल्फा भांग लगाकर सारे
भोले की जय जय बोलें।।
मोहक हैं सबके हा’लात।
भोले की निकली बरात।।
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तरह तरह के भेष बनाए।
अद्भुत अनुपम साज बजाए।
बड़े भयावह रूप धरे हैं।
देख घराती सकल डरे है।
कोई’ हवा में शस्त्र चलाता,
कोई चलावे है लात।
भोले की निकली बरात।।
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