Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 Dec 2016 · 1 min read

भले बुरे के बीच का (दोहे )

भले बुरे के बीच का, ऐसे समझें फर्क !
जैसे बच्चों के लिए, माता दिखे सतर्क !!

नहीं रहा है ताज का , हुनर कभी मुहताज !
करता यह मस्तिष्क पर , कद्रदान के राज !!

गायब हो संवेदना,………रहे नदारद भाव!
वहां कलम को दीन के, दिखें कहाँ फिर घाव !!
रमेश शर्मा

Language: Hindi
1 Like · 269 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
अम्बे तेरा दर्शन
अम्बे तेरा दर्शन
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
*आँखों से  ना  दूर होती*
*आँखों से ना दूर होती*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
एक ही भूल
एक ही भूल
Mukesh Kumar Sonkar
निराकार परब्रह्म
निराकार परब्रह्म
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
विरह
विरह
Neelam Sharma
National YOUTH Day
National YOUTH Day
Tushar Jagawat
कितना लिखता जाऊँ ?
कितना लिखता जाऊँ ?
The_dk_poetry
2601.पूर्णिका
2601.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
क्या हमारी नियति हमारी नीयत तय करती हैं?
क्या हमारी नियति हमारी नीयत तय करती हैं?
Soniya Goswami
*** सिमटती जिंदगी और बिखरता पल...! ***
*** सिमटती जिंदगी और बिखरता पल...! ***
VEDANTA PATEL
हत्या
हत्या
Kshma Urmila
आदतों में तेरी ढलते-ढलते, बिछड़न शोहबत से खुद की हो गयी।
आदतों में तेरी ढलते-ढलते, बिछड़न शोहबत से खुद की हो गयी।
Manisha Manjari
चिंतन
चिंतन
ओंकार मिश्र
"इसलिए जंग जरूरी है"
Dr. Kishan tandon kranti
हुऐ बर्बाद हम तो आज कल आबाद तो होंगे
हुऐ बर्बाद हम तो आज कल आबाद तो होंगे
Anand Sharma
गम और खुशी।
गम और खुशी।
Taj Mohammad
स्थितिप्रज्ञ चिंतन
स्थितिप्रज्ञ चिंतन
Shyam Sundar Subramanian
वक्त बनाये, वक्त ही,  फोड़े है,  तकदीर
वक्त बनाये, वक्त ही, फोड़े है, तकदीर
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
होलिका दहन कथा
होलिका दहन कथा
विजय कुमार अग्रवाल
*स्वर्ग में सबको मिला तन, स्वस्थ और जवान है 【गीतिका】*
*स्वर्ग में सबको मिला तन, स्वस्थ और जवान है 【गीतिका】*
Ravi Prakash
खूबसूरती एक खूबसूरत एहसास
खूबसूरती एक खूबसूरत एहसास
Dr fauzia Naseem shad
#तेवरी-
#तेवरी-
*Author प्रणय प्रभात*
सियासत
सियासत
हिमांशु Kulshrestha
"सुप्रभात"
Yogendra Chaturwedi
ख़िराज-ए-अक़ीदत
ख़िराज-ए-अक़ीदत
Shekhar Chandra Mitra
जिंदगी भर किया इंतजार
जिंदगी भर किया इंतजार
पूर्वार्थ
शूद्र व्यवस्था, वैदिक धर्म की
शूद्र व्यवस्था, वैदिक धर्म की
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
कभी धूप तो कभी बदली नज़र आयी,
कभी धूप तो कभी बदली नज़र आयी,
Rajesh Kumar Arjun
जमाना है
जमाना है
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
मोलभाव
मोलभाव
Dr. Pradeep Kumar Sharma
Loading...