Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
10 Feb 2017 · 1 min read

बेटियाँ

सुताओं में माँतु-अॉचल, दिखे पति की पूर्णिमा|
पिता की हर भावना का ख्याल, बनकर सूरमा|
अहं को क्षर,बंध हर लें, प्रीतिमय आधार बन |
लड़कियां जीवन-प्रदाता,भाव की गुरुपूर्णिमा|

इसलिए बेटी पढा लो,औ लिखो सुख-जीवनी|
सजगता का भानु इनमें, प्रीत की संजीवनी
लड़कियां घर में रहेंगीं, सफल जीवन आपका
बचालो इनको सुजन ,तब मिले हँसती-जीवनी|

बृजेश कुमार नायक
“जागा हिंदुस्तान चाहिए” एवं “क्रौंच सुऋषि आलोक” कृतियों के प्रणेता

Language: Hindi
569 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Pt. Brajesh Kumar Nayak
View all
You may also like:
"वो हसीन खूबसूरत आँखें"
Dr. Kishan tandon kranti
घाघरा खतरे के निशान से ऊपर
घाघरा खतरे के निशान से ऊपर
Ram Krishan Rastogi
#शेर-
#शेर-
*Author प्रणय प्रभात*
ऊपर चढ़ता देख तुम्हें, मुमकिन मेरा खुश होना।
ऊपर चढ़ता देख तुम्हें, मुमकिन मेरा खुश होना।
सत्य कुमार प्रेमी
निदा फाज़ली का एक शेर है
निदा फाज़ली का एक शेर है
Sonu sugandh
बुला लो
बुला लो
Dr.Pratibha Prakash
धार में सम्माहित हूं
धार में सम्माहित हूं
AMRESH KUMAR VERMA
*जितना आसान है*
*जितना आसान है*
नेताम आर सी
आसान शब्द में समझिए, मेरे प्यार की कहानी।
आसान शब्द में समझिए, मेरे प्यार की कहानी।
पूर्वार्थ
बच्चे पैदा कीजिए, घर-घर दस या बीस ( हास्य कुंडलिया)
बच्चे पैदा कीजिए, घर-घर दस या बीस ( हास्य कुंडलिया)
Ravi Prakash
भाषाओं पे लड़ना छोड़ो, भाषाओं से जुड़ना सीखो, अपनों से मुँह ना
भाषाओं पे लड़ना छोड़ो, भाषाओं से जुड़ना सीखो, अपनों से मुँह ना
DrLakshman Jha Parimal
नृत्य किसी भी गीत और संस्कृति के बोल पर आधारित भावना से ओतप्
नृत्य किसी भी गीत और संस्कृति के बोल पर आधारित भावना से ओतप्
Rj Anand Prajapati
Wakt ke pahredar
Wakt ke pahredar
Sakshi Tripathi
गाँव बदलकर शहर हो रहा
गाँव बदलकर शहर हो रहा
रवि शंकर साह
मजबूरी
मजबूरी
Dr. Pradeep Kumar Sharma
Dr Arun Kumar shastri
Dr Arun Kumar shastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
3231.*पूर्णिका*
3231.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
तुझसा कोई प्यारा नहीं
तुझसा कोई प्यारा नहीं
Mamta Rani
वो तुम्हें! खूब निहारता होगा ?
वो तुम्हें! खूब निहारता होगा ?
The_dk_poetry
जुदाई की शाम
जुदाई की शाम
Shekhar Chandra Mitra
उर्दू
उर्दू
Surinder blackpen
नाम के अनुरूप यहाँ, करे न कोई काम।
नाम के अनुरूप यहाँ, करे न कोई काम।
डॉ.सीमा अग्रवाल
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
पेशवा बाजीराव बल्लाल भट्ट
पेशवा बाजीराव बल्लाल भट्ट
Ajay Shekhavat
कहानी ....
कहानी ....
sushil sarna
🥀*अज्ञानी की कलम*🥀
🥀*अज्ञानी की कलम*🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
कतरनों सा बिखरा हुआ, तन यहां
कतरनों सा बिखरा हुआ, तन यहां
Pramila sultan
-  मिलकर उससे
- मिलकर उससे
Seema gupta,Alwar
💐प्रेम कौतुक-486💐
💐प्रेम कौतुक-486💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
राजतंत्र क ठगबंधन!
राजतंत्र क ठगबंधन!
Bodhisatva kastooriya
Loading...