Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
13 Jan 2017 · 1 min read

बेटियाँ देश की

मिला कंधे से कंधा
कुंठित धारणाओ को तोड़
कंटक भरे राह को कर सुगम
बड़ी लड़ाई लड़ लड़कर
विश्व में परचम लहरा रही है
बेटियाँ देश की
माँ , बहन , पत्नी
मैत्रेयी , गार्गी और दुर्गा
सिन्धु, साक्षी,किरण बेदी
महादेवी और मनु भंडारी
हर रूप में आगे है
बेटियाँ देश की
जब जन्म बेटी का
घर में होता है
न जाने क्यों आज भी
उत्सव नहीं होता है
आदिकाल से आजतक
हमे राह दिखा रही है
बेटियाँ देश की

शक्ति को भूल हम
कैसे बेटे के लिए ललक रहे
भूल रहे सृजन हमारा भी
यदि बेटी न हो तो शून्य रहे
मनुष्य के भ्रूण से जीव होने का दर्शन
मूक भाषा में हमे समझा रही है
बेटियाँ देश की

कभी उलझन में हो पिता
बाहरी कामकाज से हो थका
चेहरे पर सिर्फ मुस्कान से
पल भर में हँसी लाती है
भूल उपेक्षाए बेटी के होने से
पिता के दुखो के लिए अक्सर
ममता का कंधा बन जाती है
बेटियाँ देश की

प्रण ले हम सब आज यहाँ
उत्सव बेटी के होने से भी होगा
बेटा चिता को अग्नि दे सकता है
तो यह हक़ बेटियों को भी होगा
नहीं कोई डर तर्पण का दिल में रखना होगा
मानते थे कल हम माँ दुर्गा देवी स्वरुप बेटी को
आज फिर से हमे सबकुछ समर्पण करना होगा
नहीं मुझे थोड़ी भी चिंता लोग क्या कहेंगे
कंधे पर बेटी के जाऊंगा,
शब्द मेरे हो जन जन तक परिभाषित
मै एक ऐसा अलख जगाऊंगा
क्योंकि
मेरा आदर और सम्मान, देश का गौरव है
बेटियाँ देश की

532 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
3097.*पूर्णिका*
3097.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
शिक्षा व्यवस्था
शिक्षा व्यवस्था
Anjana banda
चन्द फ़ितरती दोहे
चन्द फ़ितरती दोहे
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
गाँव कुछ बीमार सा अब लग रहा है
गाँव कुछ बीमार सा अब लग रहा है
Pt. Brajesh Kumar Nayak
मेरी बच्ची - दीपक नीलपदम्
मेरी बच्ची - दीपक नीलपदम्
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
झोली फैलाए शामों सहर
झोली फैलाए शामों सहर
नूरफातिमा खातून नूरी
कड़वा सच~
कड़वा सच~
दिनेश एल० "जैहिंद"
किस तरह से गुज़र पाएँगी
किस तरह से गुज़र पाएँगी
हिमांशु Kulshrestha
मर्द रहा
मर्द रहा
Kunal Kanth
सार्थक मंथन
सार्थक मंथन
Shyam Sundar Subramanian
भूतल अम्बर अम्बु में, सदा आपका वास।🙏
भूतल अम्बर अम्बु में, सदा आपका वास।🙏
संजीव शुक्ल 'सचिन'
"याद रहे"
Dr. Kishan tandon kranti
बुश का बुर्का
बुश का बुर्का
नंदलाल सिंह 'कांतिपति'
हिन्दी दोहा-पत्नी
हिन्दी दोहा-पत्नी
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
मैं भविष्य की चिंता में अपना वर्तमान नष्ट नहीं करता क्योंकि
मैं भविष्य की चिंता में अपना वर्तमान नष्ट नहीं करता क्योंकि
Rj Anand Prajapati
वसुधा में होगी जब हरियाली।
वसुधा में होगी जब हरियाली।
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
ये नयी सभ्यता हमारी है
ये नयी सभ्यता हमारी है
Shweta Soni
अल्फ़ाजी
अल्फ़ाजी
Mahender Singh
बाल कविता: भालू की सगाई
बाल कविता: भालू की सगाई
Rajesh Kumar Arjun
देशभक्त मातृभक्त पितृभक्त गुरुभक्त चरित्रवान विद्वान बुद्धिम
देशभक्त मातृभक्त पितृभक्त गुरुभक्त चरित्रवान विद्वान बुद्धिम
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
अपना - पराया
अपना - पराया
Neeraj Agarwal
#मुक्तक
#मुक्तक
*Author प्रणय प्रभात*
ऊँचे जिनके कर्म हैं, ऊँची जिनकी साख।
ऊँचे जिनके कर्म हैं, ऊँची जिनकी साख।
डॉ.सीमा अग्रवाल
-------ग़ज़ल-----
-------ग़ज़ल-----
प्रीतम श्रावस्तवी
स्मृतियाँ  है प्रकाशित हमारे निलय में,
स्मृतियाँ है प्रकाशित हमारे निलय में,
पंकज पाण्डेय सावर्ण्य
दो कदम
दो कदम
Dr fauzia Naseem shad
केहिकी करैं बुराई भइया,
केहिकी करैं बुराई भइया,
Kaushal Kumar Pandey आस
मिट्टी बस मिट्टी
मिट्टी बस मिट्टी
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
माँ मेरा मन
माँ मेरा मन
लक्ष्मी सिंह
*णमोकार मंत्र (बाल कविता)*
*णमोकार मंत्र (बाल कविता)*
Ravi Prakash
Loading...