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28 Jul 2019 · 1 min read

.बहु

सूरत सीरत शुभ सुखद, मधुकर करती बात।
बहु अलबेली रूपसी, भगवन की सौगात।

भगवन की सौगात, शुद्ध चमकीला हीरा।
अंतस भरे प्रकाश,हरे जो सबकी पीरा।
देती सबको प्यार,लगे ममता की मूरत।
मंगलमय दिन-रात, देख कर उसकी सूरत।।
-लक्ष्मी सिंह
नई दिल्ली

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