Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
25 Aug 2017 · 1 min read

नारी तू नारायणी

#शर्मा_जी_कहिन✍
अपनी आँखों,अपनी वाणी, और अपने दर्शन से विश्व को मोहित करदेने वाली खुद की परवाह किये बगैर स्वजीवन को ओरो पर समर्पित करदेनी वाली एक माता,एक बहन,एक पत्नी का योगदान जीवन अतुलनीय,और अनिवर्चनीय हे ईश्वर की सर्वोत्तम कृति के अनुरूप अपने दर्शन से आधुनिकता में बदलते हुए अंग-अंग के प्रदर्शन तक नारी का सफर जारी है,
आँखे देखने में अक्षम हो उस दुरी से खुद की एक झलक दर्पण में डाल खिलजी को मोहित करदेने वाली पद्मिनी हो या महृषि,तप्सियो का तप भंग करदेने वाली अप्सरा अपने सौदर्य के साथ ही अपने शिष्टाचार के लिए वन्दित हे,
अपने अस्तित्व के होने की गवाही भारतीय नारी पुरातन काल से ही देती आयी है,
विद्वता में विदुषी मैत्री,गार्गी हो,अपने पति की प्राण रक्षा हेतु यमराज से भीड़ जाने वाली सावित्री हो या युद्ध कौशल में कुशल झाँसी की रानी,भाष्य टिका लिखने में तल्लीन पति की सेवा में ततपर रहने वाली जेमिनी हो जो पति के साथ 40 वर्षो तक रह उनकी सेवा करके काम को जीत गई(जेमिनी टिका उनके नाम पर हे),अनन्त प्रतीक्षा की प्रतीक देवी उर्मिला हो या फिर अपने पति के साथ असहनीय दुखो,कष्टों को सहन करने वाली माँ सीता,हर क्षण हर पल अपनी सांसो को खुद लेकर उनका कर्ज वो अपने समर्पण से चुकाती हे ।
विश्व की हर नारी वन्दनीय हे ,उनका सम्मान करें सम्मान न दे सके तो कृपया अपमान तो न ही करे ,

यत्र नारी पूज्यते ,रमन्ते तत्र देवता
#नारायणी_नमोस्तुते ।।

पण्डित योगेश शर्मा !✍

Language: Hindi
Tag: लेख
1 Like · 941 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
प्रभु के प्रति रहें कृतज्ञ
प्रभु के प्रति रहें कृतज्ञ
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
#दोहा
#दोहा
*Author प्रणय प्रभात*
सच तो फूल होते हैं।
सच तो फूल होते हैं।
Neeraj Agarwal
"इतिहास गवाह है"
Dr. Kishan tandon kranti
फिर क्यूँ मुझे?
फिर क्यूँ मुझे?
Pratibha Pandey
चिड़िया
चिड़िया
Dr. Pradeep Kumar Sharma
साधक
साधक
सतीश तिवारी 'सरस'
मानसिक विकलांगता
मानसिक विकलांगता
Dr fauzia Naseem shad
'ਸਾਜਿਸ਼'
'ਸਾਜਿਸ਼'
विनोद सिल्ला
अलसाई आँखे
अलसाई आँखे
A🇨🇭maanush
2306.पूर्णिका
2306.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
दूर कहीं जब मीत पुकारे
दूर कहीं जब मीत पुकारे
Mahesh Tiwari 'Ayan'
*मर्यादा पुरूषोत्तम राम*
*मर्यादा पुरूषोत्तम राम*
Shashi kala vyas
”ज़िन्दगी छोटी नहीं होती
”ज़िन्दगी छोटी नहीं होती
शेखर सिंह
सत्य यह भी
सत्य यह भी
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
मन में रख विश्वास,
मन में रख विश्वास,
Anant Yadav
देकर हुनर कलम का,
देकर हुनर कलम का,
Satish Srijan
मुहब्बत
मुहब्बत
अखिलेश 'अखिल'
पुस्तकें
पुस्तकें
नन्दलाल सुथार "राही"
खिल जाए अगर कोई फूल चमन मे
खिल जाए अगर कोई फूल चमन मे
shabina. Naaz
माटी
माटी
AMRESH KUMAR VERMA
किस क़दर
किस क़दर
हिमांशु Kulshrestha
वक्त निकल जाने के बाद.....
वक्त निकल जाने के बाद.....
ओसमणी साहू 'ओश'
ये भी सच है के हम नही थे बेइंतेहा मशहूर
ये भी सच है के हम नही थे बेइंतेहा मशहूर
'अशांत' शेखर
श्रोता के जूते
श्रोता के जूते
नंदलाल सिंह 'कांतिपति'
सम्मान में किसी के झुकना अपमान नही होता
सम्मान में किसी के झुकना अपमान नही होता
Kumar lalit
हिन्दी
हिन्दी
manjula chauhan
तुम मेरी जिन्दगी बन गए हो।
तुम मेरी जिन्दगी बन गए हो।
Taj Mohammad
रक्षा बंधन
रक्षा बंधन
बिमल तिवारी “आत्मबोध”
हर चीज़ मुकम्मल लगती है,तुम साथ मेरे जब होते हो
हर चीज़ मुकम्मल लगती है,तुम साथ मेरे जब होते हो
Shweta Soni
Loading...