Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
8 Mar 2017 · 1 min read

“नारी की महत्ता”दोहे

“*नारी की महत्ता पर दोहे* *************** नारी जग का मूल है, नारी से संसार। नारी जीवन दाायिनी,पूजो बारंबार।।
नारी घर की आन है, नारी घर की शान। नारी बिन घर -घर नहीं, नारी है वरदान।।
नारी से जन्मा पुरुष, नारी है पहचान। पत्नी बन संतान दी, नारी वृक्ष समान।।
नारी कोमल फूल सी, नारी है बलवान। वक्त पड़े दुर्गा बने, थामे तीर कमान।।
नारी के अंतस बसे, रूप शील गुण चार। त्याग क्षमा गहना बने, नारी जग आधार।।
डॉ. रजनी अग्रवाल” वाग्देवी रत्ना”

Language: Hindi
3 Likes · 2 Comments · 14204 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from डॉ. रजनी अग्रवाल 'वाग्देवी रत्ना'
View all
You may also like:
आपने खो दिया अगर खुद को
आपने खो दिया अगर खुद को
Dr fauzia Naseem shad
सुनो, मैं जा रही हूं
सुनो, मैं जा रही हूं
Suman (Aditi Angel 🧚🏻)
Har roj tumhara wahi intajar karti hu
Har roj tumhara wahi intajar karti hu
Sakshi Tripathi
जीवन से ओझल हुए,
जीवन से ओझल हुए,
sushil sarna
मेरे अंशुल तुझ बिन.....
मेरे अंशुल तुझ बिन.....
Santosh Soni
"एको देवः केशवो वा शिवो वा एकं मित्रं भूपतिर्वा यतिर्वा ।
Mukul Koushik
उनको असफलता अधिक हाथ लगती है जो सफलता प्राप्त करने के लिए सह
उनको असफलता अधिक हाथ लगती है जो सफलता प्राप्त करने के लिए सह
Rj Anand Prajapati
शर्म करो
शर्म करो
Sanjay ' शून्य'
कसूर उनका नहीं मेरा ही था,
कसूर उनका नहीं मेरा ही था,
Vishal babu (vishu)
दिल का मौसम सादा है
दिल का मौसम सादा है
Shweta Soni
समस्याओं के स्थान पर समाधान पर अधिक चिंतन होना चाहिए,क्योंकि
समस्याओं के स्थान पर समाधान पर अधिक चिंतन होना चाहिए,क्योंकि
Deepesh purohit
2329.पूर्णिका
2329.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
*छह माह (बाल कविता)*
*छह माह (बाल कविता)*
Ravi Prakash
💐प्रेम कौतुक-314💐
💐प्रेम कौतुक-314💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
पहला प्यार नहीं बदला...!!
पहला प्यार नहीं बदला...!!
Ravi Betulwala
मर्द रहा
मर्द रहा
Kunal Kanth
बस इतनी सी अभिलाषा मेरी
बस इतनी सी अभिलाषा मेरी
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
अमर शहीद भगत सुखदेव राजगुरू
अमर शहीद भगत सुखदेव राजगुरू
Satish Srijan
कमियों पर
कमियों पर
REVA BANDHEY
बच्चों को बच्चा रहने दो
बच्चों को बच्चा रहने दो
Manu Vashistha
"वक्त वक्त की बात"
Pushpraj Anant
मेरे चेहरे पर मुफलिसी का इस्तेहार लगा है,
मेरे चेहरे पर मुफलिसी का इस्तेहार लगा है,
Lokesh Singh
पूर्णिमा की चाँदनी.....
पूर्णिमा की चाँदनी.....
Awadhesh Kumar Singh
विषय -घर
विषय -घर
rekha mohan
"आईने पे कहर"
Dr. Kishan tandon kranti
■ एक शेर में जीवन दर्शन।
■ एक शेर में जीवन दर्शन।
*Author प्रणय प्रभात*
My life's situation
My life's situation
Sukoon
रमेशराज के विरोधरस दोहे
रमेशराज के विरोधरस दोहे
कवि रमेशराज
आखों में नमी की कमी नहीं
आखों में नमी की कमी नहीं
goutam shaw
कविताश्री
कविताश्री
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
Loading...