Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
11 Aug 2016 · 2 min read

दर्द किसान का (हरियाणवी)

कोय ना समझदा दुःख एक किसान का।
होरया स जोखम उसनै आपणी जान का।।

जेठ साढ़ के घाम म्ह जलै वो ठरै पौ के जाड्डे म्ह।
कोय बी ना काम आवै उसकै भई बखत आड्डे म्ह।
किसान की गरीबी प हांसै भई लोग ब्योंत ठाड्डे म्ह।
मन नै समझावै वो के फैदा औरां का खोट काड्डे म्ह।
कर्म कर राखै माड़े दोष के उस भगवान का।।
सोलै दिन आये प मुँह बंद होज्या जहान का।।

कर्जा ठा ठा फसल बोये जा करकै नै कुछ आस।
कदे सुखा पड़ज्या कदे बाढ़ आज्या होज्या नाश।
कर्मा का इतना स हिणा फसल बी ना होती खास।
दुःख विपदा म्ह गात सुखज्या बनज्या जिंदा लाश।
मन म्ह न्यू सोचे जा जीना के हो स कर्जवान का।।
बेरा ना कद सी पहिया घुमैगा बखत बलवान का।।

बालकां का कान्ही देख देख खून सारा जल ज्या स।
भूखे तिसाये रहवैं आधी हाणा न्यू काया गल ज्या स।
गरीबी के कारण देखदे माणसा का रुख बदल ज्या स।
कदे दो पिस्से ना माँग ले सोच के मानस टल ज्या स।
रोज करना पड़ै स सब्र पी कै जहर अपमान का।।
माथे की लिखी के आगे के जोर चालै इंसान का।।

गुरु रणबीर सिंह नै बहोत समझाया पढ़ लिख ले।
हो ज्यावैगा कामयाब बेटा ढ़ाई अखर तू सीख ले।
याद कर उन बाताँ नै जी करै ठाडू ठाडू चीख ले।
इसे जमींदारे तै आछा कितै जा कै मांग भीख ले।
सुलक्षणा नै ठाया बीड़ा साच स्याहमी ल्यान का।।
बालकपन तै स खटका उसकै कलम चलान का।।

©® डॉ सुलक्षणा अहलावत

Language: Hindi
Tag: गीत
636 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
दोस्ती
दोस्ती
Mukesh Kumar Sonkar
*कोई अपना पराया है (हिंदी गजल/गीतिका)*
*कोई अपना पराया है (हिंदी गजल/गीतिका)*
Ravi Prakash
"चलना"
Dr. Kishan tandon kranti
रेत मुट्ठी से फिसलता क्यूं है
रेत मुट्ठी से फिसलता क्यूं है
Shweta Soni
भोर
भोर
Kanchan Khanna
ज़िंदगी को
ज़िंदगी को
Sangeeta Beniwal
💐प्रेम कौतुक-542💐
💐प्रेम कौतुक-542💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
वो मुझ को
वो मुझ को "दिल" " ज़िगर" "जान" सब बोलती है मुर्शद
Vishal babu (vishu)
******** रुख्सार से यूँ न खेला करे ***********
******** रुख्सार से यूँ न खेला करे ***********
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
"प्रीत की डोर”
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
मेरी तकलीफ़
मेरी तकलीफ़
Dr fauzia Naseem shad
"दूल्हन का घूँघट"
Ekta chitrangini
3178.*पूर्णिका*
3178.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
वन उपवन हरित खेत क्यारी में
वन उपवन हरित खेत क्यारी में
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
मिलन फूलों का फूलों से हुआ है_
मिलन फूलों का फूलों से हुआ है_
Rajesh vyas
कृष्ण जन्म
कृष्ण जन्म
लक्ष्मी सिंह
अगर तेरी बसारत में सिर्फ एक खिलौना ये अवाम है
अगर तेरी बसारत में सिर्फ एक खिलौना ये अवाम है
'अशांत' शेखर
जो ना होना था
जो ना होना था
shabina. Naaz
कितना मुश्किल है केवल जीना ही ..
कितना मुश्किल है केवल जीना ही ..
Vivek Mishra
Ranjeet Shukla
Ranjeet Shukla
Ranjeet Kumar Shukla
घरौंदा इक बनाया है मुहब्बत की इबादत लिख।
घरौंदा इक बनाया है मुहब्बत की इबादत लिख।
आर.एस. 'प्रीतम'
dr arun kumar shastri
dr arun kumar shastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
"The Power of Orange"
Manisha Manjari
जिंदगी के लिए वो क़िरदार हैं हम,
जिंदगी के लिए वो क़िरदार हैं हम,
Ashish shukla
चालें बहुत शतरंज की
चालें बहुत शतरंज की
surenderpal vaidya
"एक नज़्म तुम्हारे नाम"
Lohit Tamta
"पंजे से पंजा लड़ाए बैठे
*Author प्रणय प्रभात*
लाख़ ज़ख्म हो दिल में,
लाख़ ज़ख्म हो दिल में,
पूर्वार्थ
भोले भाले शिव जी
भोले भाले शिव जी
Harminder Kaur
सोचके बत्तिहर बुत्ताएल लोकके व्यवहार अंधा होइछ, ढल-फुँनगी पर
सोचके बत्तिहर बुत्ताएल लोकके व्यवहार अंधा होइछ, ढल-फुँनगी पर
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
Loading...