तेरी गली
तेरी गली
तेरी गली के रास्ते सब बन्द हो गये,
सुना है अब हम तेरे लिये अज़नबी हो गये।।।
ख़ता हमारी ही थी हम ही तेरी बातो ही बातों में ज्यादा मसगुल हो गये,
इश्क की आग में खुद ही जलकर आज राख हो गये।
क़सूर न तेरा हुआ और न हमारा हुआ,
हम वक्त की नज़ाक़त से ही मजबूर हो गये।।।।
तेरे और उसके बीच क्या बातों का सिलशिला चला,
हम जानने को आज बहुत अधीर हो गये।।।।
अब तुझे भूलना इतना आसान न होगा ए मेरे गुलबहार की महक,
हम तेरे ही दिये प्यार के दीवाने हो गये।।।।।।
हालात तो क्या आज बिगड़े है कल ठीक हो जायेंगे,
हम दो पंछी मस्त गगन के सलाख़ों के पीछे कैद हो गये।।।।।।
इंतजार जरूर करना होगा एक दूजे को फिर उड़ने जाने के लिये,
तब तक के लिये बहती खुशियों की हवाओं को हम भूल गये।।।।।।।
सोनू का सिर्फ दिल ए मकाँ का तू ही खूबसूरत आशियाना सजाना,
इस दिल के मालिकाना का सारा हक हम तुझे ही दे गये।।।।।।।।।
रचनाकार
गायत्री सोनू जैन मंदसौर
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