Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
2 Aug 2018 · 2 min read

गलतियों से प्रेरणा लेना ही जिंदगी है I

यह कहावत चरितार्थ होती है कि इंसान गलतियों का पुतला है I हर इन्सानअपने हर शुरुआती दौर मे एक नवजात की तरह होता है I जैसे नन्हा परिंदा अपने आस पास होने वाली हर एक छोटि छोटि चीजों का अनुभव करता है और आगे बढ़ता चला जाता है I परिन्दे का हर दिन उसे कुछ नया सिखा जाता है उसी तरह एक सफ़ल इंसान भी अपने जीवन को नन्हे परिन्दो की भाँति जीता है I जीवन का असली अनुभव गलतियो से ही आता है I ये गलतियां हमे वो पाठ सिखा देती है जो हम अपने जीवन के विधालय में सीख जाते है I हमारा अध्यापक वक़्त और हालात होते है और गलतियाँ हमारी परीक्षा I संसार मे कोई भी ऐसा व्यक्ति मात्र नहीं होगा जिसने अपने जीवन में कोई गलती ना की हो I अपनी द्वारा की गयी गलतियों से सबक लेना ही महत्वपूर्ण है I अगर आप एक बार पत्थर से टकराते है अगले पल उस पत्थर से सावधान होना सीख जाते है I यदि हम सबक नहीं ले रहे है तब हम खुद के जीवन के प्रति लगाव नहीं रख रहे है I जिन्दगी की गलतियों से ही हम हर पल कुछ सीखते है, अनुभव लेते है और भविष्य को सुनहरा करते है I जब हम स्वम के द्वारा की गयी गलतियों से सबक लेते है तब निश्चित ही खुद मे परिवर्तन चाहते है I गलतियां और अनुभव सफ़लता की वो सीढियाँ चढना सिखा देती है जो व्यक्ति खुद के लिये ख्वाबो का संसार संजोये रखता है Iअगर आप अपने अतीत को पकड़ कर रोते रहोगें तब आप आज कुछ नहीं कर पाएगे और आपका कल भी बिगड़ जायेगा। जो हो गया उस पर अब आपका कोई नियंत्रण नहीं हैं,लेकिन आने वाले कल पर हमारा नियंत्रण है I सबसे ज्यादा जरूरी है कि खुद के प्रति ईमानदारी और गलतियों की परख I गलतियां इंसान के स्वभाव का हिस्सा है I अगर गलतियां नहीं कर रहे हो तब आप कुछ नया सीखने की चाह नहीं रख रहे है I

युक्ति वार्ष्णेय “सरला”

Language: Hindi
Tag: लेख
417 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
चुनाव का मौसम
चुनाव का मौसम
Dr. Pradeep Kumar Sharma
जय अयोध्या धाम की
जय अयोध्या धाम की
Arvind trivedi
अन्ना जी के प्रोडक्ट्स की चर्चा,अब हो रही है गली-गली
अन्ना जी के प्रोडक्ट्स की चर्चा,अब हो रही है गली-गली
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
सलीन पर लटके मानवता के मसीहा जीसस के स्वागत में अभिव्यक्ति 
सलीन पर लटके मानवता के मसीहा जीसस के स्वागत में अभिव्यक्ति 
Dr. Girish Chandra Agarwal
गीत प्यार के ही गाता रहूं ।
गीत प्यार के ही गाता रहूं ।
Rajesh vyas
2552.*पूर्णिका**कामयाबी का स्वाद चखो*
2552.*पूर्णिका**कामयाबी का स्वाद चखो*
Dr.Khedu Bharti
तुम्हारी याद है और उम्र भर की शाम बाकी है,
तुम्हारी याद है और उम्र भर की शाम बाकी है,
Ankur Rawat
प्यार है तो सब है
प्यार है तो सब है
Shekhar Chandra Mitra
हाँ, कल तक तू मेरा सपना थी
हाँ, कल तक तू मेरा सपना थी
gurudeenverma198
ये नयी सभ्यता हमारी है
ये नयी सभ्यता हमारी है
Shweta Soni
चंद्रयान 3
चंद्रयान 3
Dr Archana Gupta
सत्तावन की क्रांति का ‘ एक और मंगल पांडेय ’
सत्तावन की क्रांति का ‘ एक और मंगल पांडेय ’
कवि रमेशराज
"आज के दौर में"
Dr. Kishan tandon kranti
तिलक-विआह के तेलउँस खाना
तिलक-विआह के तेलउँस खाना
आकाश महेशपुरी
हंसी आ रही है मुझे,अब खुद की बेबसी पर
हंसी आ रही है मुझे,अब खुद की बेबसी पर
Pramila sultan
शायरी - ग़ज़ल - संदीप ठाकुर
शायरी - ग़ज़ल - संदीप ठाकुर
Sundeep Thakur
बचा ले मुझे🙏🙏
बचा ले मुझे🙏🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
मां
मां
goutam shaw
2 जून की रोटी की खातिर जवानी भर मेहनत करता इंसान फिर बुढ़ापे
2 जून की रोटी की खातिर जवानी भर मेहनत करता इंसान फिर बुढ़ापे
Harminder Kaur
सापटी
सापटी
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
विश्वास का धागा
विश्वास का धागा
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
कारण मेरा भोलापन
कारण मेरा भोलापन
Satish Srijan
💐प्रेम कौतुक-302💐
💐प्रेम कौतुक-302💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
ऐ!मेरी बेटी
ऐ!मेरी बेटी
लक्ष्मी सिंह
"Teri kaamyaabi par tareef, tere koshish par taana hoga,
कवि दीपक बवेजा
🙅आदिपुरुष🙅
🙅आदिपुरुष🙅
*Author प्रणय प्रभात*
कुछ रिश्ते भी बंजर ज़मीन की तरह हो जाते है
कुछ रिश्ते भी बंजर ज़मीन की तरह हो जाते है
पूर्वार्थ
सत्य दृष्टि (कविता)
सत्य दृष्टि (कविता)
Dr. Narendra Valmiki
पुण्यात्मा के हाथ भी, हो जाते हैं पाप ।
पुण्यात्मा के हाथ भी, हो जाते हैं पाप ।
डॉ.सीमा अग्रवाल
*जिंदगी-भर फिर न यह, अनमोल पूँजी पाएँगे【 गीतिका】*
*जिंदगी-भर फिर न यह, अनमोल पूँजी पाएँगे【 गीतिका】*
Ravi Prakash
Loading...