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6 Jul 2020 · 1 min read

ऐहतराम करते रहो

एक दूसरे का ऐहतराम करते रहो
यूँ ही मिल जुल के काम करते रहो

दुनियादारी की फ़िक्र करो लेकिन
आख़िरत का भी इंतज़ाम करते रहो

अच्छे अख़लाक़ से हर कोई मुतास्सिर होता है
जो मिले सबसे दुआ सलाम करते रहो

3 Likes · 2 Comments · 201 Views
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