Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
29 Jan 2020 · 1 min read

ऋतुराज बसंत

प्रकृति की मनोरम छटा देख
व्याकुल मन हर्षाया
चहुँ ओर फैली हरियाली
शाखाओं पे कोयल बोली

पीत वर्ण की चूनर में
धरा सजी सुनहरी
अन्तर्मन में जगी आशा
ऋतुराज बसंत है आया

भानु रश्मि बिखरे धरा तक
मानो युग में नव राह दर्शाती
नभ से हटी ओस की चादर
नवयुग अभ्युदय का आह्वान करती

रंग बिरंगे कुसुम मन्द मन्द मुस्कान लिए
जीवन का हर बिम्ब दिखाते
आशाओं का वेग है लाया
ऋतुराज बसंत है आया

Language: Hindi
5 Likes · 344 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Neha
View all
You may also like:
बे-ख़ुद
बे-ख़ुद
Shyam Sundar Subramanian
इससे ज़्यादा
इससे ज़्यादा
Dr fauzia Naseem shad
"हाशिये में पड़ी नारी"
Dr. Kishan tandon kranti
बदल देते हैं ये माहौल, पाकर चंद नोटों को,
बदल देते हैं ये माहौल, पाकर चंद नोटों को,
Jatashankar Prajapati
कविताश्री
कविताश्री
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
इत्तिफ़ाक़न मिला नहीं होता।
इत्तिफ़ाक़न मिला नहीं होता।
सत्य कुमार प्रेमी
नंद के घर आयो लाल
नंद के घर आयो लाल
Kavita Chouhan
DR अरूण कुमार शास्त्री
DR अरूण कुमार शास्त्री
DR ARUN KUMAR SHASTRI
💐अज्ञात के प्रति-129💐
💐अज्ञात के प्रति-129💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
23/117.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/117.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
हा मैं हारता नहीं, तो जीतता भी नहीं,
हा मैं हारता नहीं, तो जीतता भी नहीं,
Sandeep Mishra
#प्रथम_स्मृति_दिवस
#प्रथम_स्मृति_दिवस
*Author प्रणय प्रभात*
दिनकर/सूर्य
दिनकर/सूर्य
Vedha Singh
राम
राम
Sanjay ' शून्य'
शबे दर्द जाती नही।
शबे दर्द जाती नही।
Taj Mohammad
औलाद
औलाद
Surinder blackpen
क़िताबों से मुहब्बत कर तुझे ज़न्नत दिखा देंगी
क़िताबों से मुहब्बत कर तुझे ज़न्नत दिखा देंगी
आर.एस. 'प्रीतम'
खुद के व्यक्तिगत अस्तित्व को आर्थिक सामाजिक तौर पर मजबूत बना
खुद के व्यक्तिगत अस्तित्व को आर्थिक सामाजिक तौर पर मजबूत बना
पूर्वार्थ
हरा न पाये दौड़कर,
हरा न पाये दौड़कर,
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
हां मैं पागल हूं दोस्तों
हां मैं पागल हूं दोस्तों
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
निरीह गौरया
निरीह गौरया
Dr.Pratibha Prakash
*सवा लाख से एक लड़ाऊं ता गोविंद सिंह नाम कहांउ*
*सवा लाख से एक लड़ाऊं ता गोविंद सिंह नाम कहांउ*
Harminder Kaur
Moti ki bhi ajib kahani se , jisne bnaya isko uska koi mole
Moti ki bhi ajib kahani se , jisne bnaya isko uska koi mole
Sakshi Tripathi
अधर्म का उत्पात
अधर्म का उत्पात
Dr. Harvinder Singh Bakshi
हुनर
हुनर
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
श्री भूकन शरण आर्य
श्री भूकन शरण आर्य
Ravi Prakash
शाम सुहानी
शाम सुहानी
लक्ष्मी सिंह
आने वाले कल का ना इतना इंतजार करो ,
आने वाले कल का ना इतना इंतजार करो ,
Neerja Sharma
शब्दों मैं अपने रह जाऊंगा।
शब्दों मैं अपने रह जाऊंगा।
गुप्तरत्न
आया सखी बसंत...!
आया सखी बसंत...!
Neelam Sharma
Loading...