
Feb 23, 2021 · दोहे
"सुख ही बांट"
सुख ही बांटे जात हैं, दुःख ना सांझा होत
होता तभी प्रकाश है, जब जलती है जोत
शीला गहलावत सीरत
चण्डीगढ़, हरियाणा

सपने देखना कैसे छोड़ दूं सजाये अरमान कैसे तोड़ दूं हिन्दी, हरियाणवी में ग़ज़ल, गीत,...

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