Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
26 Sep 2021 · 3 min read

शिवलिंग-भ्रम और वैज्ञानिकता

शिवलिंग -भ्रम और वैज्ञानिकता
—————-
प्राय: शिव जी के बारे में जो विद्वान ,पंडित और पुराण हमें उनके अस्तित्व के बारे में समझाते हैं कि शिव निराकार,अविनाशी,अजन्मा और शाश्वत है। इसका अर्थ यह है कि जिसका न जन्म हो और जिसकी न मृत्यु हो;काल और समय के प्रवाह से अविचलित सदा इस विश्व के कल्याण के लिये प्रकृति और जीव जगत को नियमन देने वाले परम शक्ति के रूप में अपने निराकार रूप में ही सेवा करते हैं। समय समय पर विश्व में जो दुर्गुण और प्रदूषण रूपी अव्यवस्था रूपी विष निकलता है उसे कंठ में धारण करते हैं। इसका भाव यह है कि हमें प्रत्येक बुरे विचार को ह्रदय तक नहीं ले जाना चाहिये अपितु अपनी मेधा का प्रयोग करके;मंथन करके अमृत तत्व को आत्मसात करना चाहिये और विष को अपने में प्रवेश नहीं होने देना चाहिये।
शिव स्वरूप को लेकर भी भ्रम रहता है।जब वह निराकार है तो उसका आकार कैसा ?? यह बड़ा गंभीर प्रश्न है!!
आज हम इस प्रश्न का उत्तर खोजने का प्रयत्न करते हैं;आपने कृष्ण छिद्र अथवा कृष्ण गुह्य का नाम सुना है नहीं न तो आसान शब्द से जान लीजिये वह है Black Hole. यह ब्रह्मांड में लगातार चलने वाली ऐसी प्रक्रिया है जिसमें इतना अधिक गुरुत्वाकर्षण होता है कि जिसमें उसके आस पास की सभी वस्तुयें समा जाती हैं;ये धूल के कण से लेकर बहुत बड़े सितारे तक उसमें समा जाते हैं।और यदि आप इसका चित्र देखें तो यह ब्लैक होल(Black Hole) एकदम शिवलिंग के स्वरूप जैसा लगता है और निराकार है और इसमें से जो ऊर्जा छिटक कर निकलती है को आप पायेंगें कि यह शिवलिंग की वेदी का स्वरूप है और दोनों एकाकार हो गये हैं।पार्वती जी को आदिशक्ति का रूप माना गया है और इसमें (कृष्ण छिद्र) से जो ऊर्जा निकलती है उससे नये तारों का निर्माण होता है;तो जहां शिवजी काल बन कर दंड देते हैं वहीं नव निर्माण भी साथ ही साथ करते हैं।
वैज्ञानिक जो आज हबल दूरदर्शी यंत्र से देखते हैं और कंप्यूटर पर लाखों करोड़ों गणनायें कर निष्कर्ष निकालते हैं वही निष्कर्ष हमारे ऋषि मुनियों ने केवल योग विद्या से ही प्राप्त कर लिया । और इस अलौकिक सत्य को देव स्वरूप देकर जन जन तक यह सिद्धांत सरल माध्यम द्वारा पूजनीय बनाया।प्रकृति की इस अद्भुद रचना संसार को समझाने का इससे सरल उपाय नहीं हो सकता।आज के वैज्ञानिकों की मानें तो ब्रह्मांड की आयु लगभग ग्यारह सौ अरब निकलती है जब यह पूरा ब्रह्मांड एक ही ब्लैक होल बन जायेगा।
आज शिवलिंग को एक साधारण प्रतिमा के रूप में न देखें अपितु इसे ब्रह्मांड की प्रतिकृति के रूप में देखें।यह हमारे जीवनकाल में ही नहीं अपितु हमारे सितारे सूर्य के समाप्त होने के अरबों वर्षों पश्चात् भी जो जीवित रहेगा वह नाम है ‘शिव’ जी का।वह (कृष्ण छिद्र)ब्लैक होल के रूप में और साथ में अनवरत बहती आकाश गंगा एक अनुपम दृश्य प्रस्तुत करती है। इतने सूक्ष्म ज्ञान को सरल प्रतीक के रूप में जन जन तक पहुँचाया दो भारत वर्ष ही नहीं अपितु शिवलिंग विश्व के कई देशों में भी पाये गये हैं। यह हमारे ऋषि,मुनियों और तपस्वियों की दूरदर्शिता का प्रमाण है कि अंतरिक्ष विज्ञान और पर्यावरण विज्ञान के प्रति सजगता को उन्होंने विभिन्न माध्यमों द्वारा जनमानस तक अपनी बात पहुँचाने का सरल तरीक़ा । खेद इस बात का है कि हम अपने पूर्वजों के ज्ञान को आगे बड़ाने की बजाय दूसरी सभ्यताओं का अंधानुकरण करके अपने ही वृहद ज्ञान को नकार रहे हैं।
अत: शिव अनंत हैं;इनका कोई आदि न कोई अंत है।जब तक ब्रह्मांड है;पृथ्वी रहे न रहे शिव अनादि काल तक रहेंगे।
—————–
राजेश’ललित’

Language: Hindi
Tag: लेख
13 Likes · 5 Comments · 960 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
गौरी।
गौरी।
Acharya Rama Nand Mandal
मनोहन
मनोहन
Seema gupta,Alwar
*श्रम साधक *
*श्रम साधक *
DR ARUN KUMAR SHASTRI
बादलों को आज आने दीजिए।
बादलों को आज आने दीजिए।
surenderpal vaidya
बचपन और पचपन
बचपन और पचपन
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
तुम बिन जीना सीख लिया
तुम बिन जीना सीख लिया
Arti Bhadauria
काश ये नींद भी तेरी याद के जैसी होती ।
काश ये नींद भी तेरी याद के जैसी होती ।
CA Amit Kumar
23/05.छत्तीसगढ़ी पूर्णिका
23/05.छत्तीसगढ़ी पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
"क्रोध"
Dr. Kishan tandon kranti
एक परोपकारी साहूकार: ‘ संत तुकाराम ’
एक परोपकारी साहूकार: ‘ संत तुकाराम ’
कवि रमेशराज
हाइकु कविता
हाइकु कविता
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
💐प्रेम कौतुक-242💐
💐प्रेम कौतुक-242💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
अप कितने भी बड़े अमीर सक्सेस हो जाओ आपके पास पैसा सक्सेस सब
अप कितने भी बड़े अमीर सक्सेस हो जाओ आपके पास पैसा सक्सेस सब
पूर्वार्थ
अब उतरते ही नही आँखों में हसींन कुछ ख़्वाब
अब उतरते ही नही आँखों में हसींन कुछ ख़्वाब
'अशांत' शेखर
आसमां में चांद अकेला है सितारों के बीच
आसमां में चांद अकेला है सितारों के बीच
ठाकुर प्रतापसिंह "राणाजी"
कफन
कफन
Dr. Pradeep Kumar Sharma
पूर्ण-अपूर्ण
पूर्ण-अपूर्ण
Srishty Bansal
है जिसका रहमो करम और प्यार है मुझ पर।
है जिसका रहमो करम और प्यार है मुझ पर।
सत्य कुमार प्रेमी
चलो संगीत की महफ़िल सजाएं
चलो संगीत की महफ़िल सजाएं
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
एक ही राम
एक ही राम
Satish Srijan
कवि सम्मेलन में जुटे, मच्छर पूरी रात (हास्य कुंडलिया)
कवि सम्मेलन में जुटे, मच्छर पूरी रात (हास्य कुंडलिया)
Ravi Prakash
खोया है हरेक इंसान
खोया है हरेक इंसान
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
*शिव शक्ति*
*शिव शक्ति*
Shashi kala vyas
'सवालात' ग़ज़ल
'सवालात' ग़ज़ल
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
तू जो कहती प्यार से मैं खुशी खुशी कर जाता
तू जो कहती प्यार से मैं खुशी खुशी कर जाता
Kumar lalit
ਕਿਸਾਨੀ ਸੰਘਰਸ਼
ਕਿਸਾਨੀ ਸੰਘਰਸ਼
Surinder blackpen
लोकतंत्र का मंत्र
लोकतंत्र का मंत्र
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
😢स्मृति शेष / संस्मरण
😢स्मृति शेष / संस्मरण
*Author प्रणय प्रभात*
सब कुछ पा लेने की इच्छा ही तृष्णा है और कृपापात्र प्राणी ईश्
सब कुछ पा लेने की इच्छा ही तृष्णा है और कृपापात्र प्राणी ईश्
Sanjay ' शून्य'
आपकी खुशहाली और अच्छे हालात
आपकी खुशहाली और अच्छे हालात
Paras Nath Jha
Loading...