Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
25 Aug 2020 · 1 min read

— मौत से पहले एक पेड़ लगाऊं –

कौन करेगा याद
कुछ ऐसा कर जाऊं
और कुछ नहीं तो
अपने हाथ से
एक दरख़्त तो लगा जाऊं

न उस पर शिलापट होगा
न उस पर कोई नाम
बस इच्छा है कुछ
ऐसा ही कर जाऊं काम

भूले भटके कोई मुसाफ़िर
आ बैठे गए छाया में
सकूं मुझ को मिलेगा
जब वो आह भरेगा छाया में

न जाने कितने गुनाह हो गए
जब तक रहा हूँ दुनिआ में
अब जाते जाते यही कर जाऊं
वो तो नजर आएगा दुनिआ में

कर्म करेंगे अच्छे
तो याद करेगी दुनिआ
वर्ना तो घास फूस की तरफ
मसल के रख देगी दुनिआ

अजीत कुमार तलवार
मेरठ

Language: Hindi
1 Like · 1 Comment · 272 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from गायक - लेखक अजीत कुमार तलवार
View all
You may also like:
*बाल गीत (मेरा प्यारा मीत )*
*बाल गीत (मेरा प्यारा मीत )*
Rituraj shivem verma
आदिपुरुष समीक्षा
आदिपुरुष समीक्षा
Dr.Archannaa Mishraa
तू सीमा बेवफा है
तू सीमा बेवफा है
gurudeenverma198
हमे भी इश्क हुआ
हमे भी इश्क हुआ
The_dk_poetry
उर्वशी की ‘मी टू’
उर्वशी की ‘मी टू’
Dr. Pradeep Kumar Sharma
कोई आदत नहीं
कोई आदत नहीं
Dr fauzia Naseem shad
सिर्फ खुशी में आना तुम
सिर्फ खुशी में आना तुम
Jitendra Chhonkar
आओ कृष्णा !
आओ कृष्णा !
Om Prakash Nautiyal
दस्ताने
दस्ताने
Seema gupta,Alwar
"फूल बिखेरता हुआ"
Dr. Kishan tandon kranti
हार से डरता क्यों हैं।
हार से डरता क्यों हैं।
Yogi Yogendra Sharma : Motivational Speaker
#दोहा
#दोहा
*Author प्रणय प्रभात*
सुप्रभातं
सुप्रभातं
Dr Archana Gupta
जितना मिला है उतने में ही खुश रहो मेरे दोस्त
जितना मिला है उतने में ही खुश रहो मेरे दोस्त
कृष्णकांत गुर्जर
सुनो प्रियमणि!....
सुनो प्रियमणि!....
Santosh Soni
जय शिव शंकर ।
जय शिव शंकर ।
Anil Mishra Prahari
मत भूल खुद को!
मत भूल खुद को!
Sueta Dutt Chaudhary Fiji
*सवा लाख से एक लड़ाऊं ता गोविंद सिंह नाम कहांउ*
*सवा लाख से एक लड़ाऊं ता गोविंद सिंह नाम कहांउ*
Harminder Kaur
।। आशा और आकांक्षा ।।
।। आशा और आकांक्षा ।।
विनोद कृष्ण सक्सेना, पटवारी
* सुन्दर झुरमुट बांस के *
* सुन्दर झुरमुट बांस के *
surenderpal vaidya
2358.पूर्णिका
2358.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
*ऊन (बाल कविता)*
*ऊन (बाल कविता)*
Ravi Prakash
रंग भेद ना चाहिए विश्व शांति लाइए सम्मान सबका कीजिए
रंग भेद ना चाहिए विश्व शांति लाइए सम्मान सबका कीजिए
DrLakshman Jha Parimal
चलते-फिरते लिखी गई है,ग़ज़ल
चलते-फिरते लिखी गई है,ग़ज़ल
Shweta Soni
साँझ ढली पंछी चले,
साँझ ढली पंछी चले,
sushil sarna
याद
याद
Kanchan Khanna
हंसगति
हंसगति
डॉ.सीमा अग्रवाल
Ghazal
Ghazal
shahab uddin shah kannauji
नारी कब होगी अत्याचारों से मुक्त?
नारी कब होगी अत्याचारों से मुक्त?
कवि रमेशराज
तुझे खुश देखना चाहता था
तुझे खुश देखना चाहता था
Kumar lalit
Loading...